भारिबैं/2021-22/27
विसविवि.केंका.प्लान.बीसी.सं.10/04.09.01/2021-22
5 मई 2021
अध्यक्ष/ प्रबंध निदेशक
मुख्य कार्यपालक अधिकारी
लघु वित्त बैंक
महोदया/महोदय,
प्राथमिकता-प्राप्त क्षेत्र को उधार (पीएसएल) – लघु वित्त बैंक (एसएफबी) द्वारा एनबीएफसी – एमएफआई को आगे उधार दिये जाने हेतु ऋण
मौजूदा दिशानिर्देशों के अनुसार, लघु वित्त बैंकों (एसएफबी) द्वारा सूक्ष्म-वित्त संस्थानों (एमएफआई) को आगे उधार देने हेतु दिए जाने वाले ऋण को प्राथमिकता-प्राप्त क्षेत्र उधार (पीएसएल) संबंधी वर्गीकरण के लिए नहीं गिना जाता है। कोविड-19 महामारी द्वारा उत्पन्न नई चुनौतियों को ध्यान में रखते हुये तथा छोटे एमएफआई की आकस्मिक तरलता संबंधी आवश्यकताओं की पूर्ति हेतु यह निर्णय लिया गया है कि एसएफबी द्वारा पंजीकृत एनबीएफसी – एमएफआई और अन्य एमएफआई (सोसाइटी, न्यास, आदि), जो भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा मान्यता प्राप्त क्षेत्र के ‘स्व-विनियामक संग्ठन’ के सदस्य हैं और जिनके पास व्यक्तियों को आगे उधार देने के उद्देश्य से 31 मार्च 2021 की स्थिति में रु.500 करोड़ तक का ‘सकल ऋण पोर्टफोलियो’ है, को दिए गए नए ऋण के लिए पीएसएल वर्गीकरण की अनुमति दी जाए। उपरोक्तानुसार बैंक ऋण 31 मार्च 2021 की स्थिति में बैंक की कुल प्राथमिकता-प्राप्त क्षेत्र पोर्टफोलियो के 10% तक की अनुमति होगी।
2. उपरोक्त व्यवस्था 31 मार्च 2022 तक वैध होगी। हालाँकि, इस प्रकार संवितरित ऋणों को चुकौती/परिपक्वता की तिथि, जो भी पहले हो, तक प्राथमिकता-प्राप्त क्षेत्र के अंतर्गत वर्गीकृत किया जाता रहेगा। इसके अलावा, बैंकों को पीएसएल पर हमारे दिनांक 04 सितंबर 2020 के मास्टर निदेश (29 अप्रैल 2021 को अद्यतन) के पैरा 21 के तहत आगे उधार देने के लिए निर्धारित शर्तों का पालन करना होगा।
3. यह दिशानिर्देश इस परिपत्र के जारी होने की तारीख से प्रभावी होंगे।
भवदीया,
(सोनाली सेन गुप्ता)
प्रभारी मुख्य महाप्रबंधक |