मास्टर परिपत्र - निवासियों द्वारा विदेश में स्थित संयुक्त उद्यम (JV)/ पूर्ण स्वामित्ववाली सहायक संस्थाओं (WOS) में प्रत्यक्ष निवेश |
आरबीआई/2010-11/5
मास्टर परिपत्र सं. 05/2010-11
01 जुलाई, 2010
सेवा में,
विदेशी मुद्रा के सभी प्राधिकृत व्यापारी
महोदया /महोदय
मास्टर परिपत्र - निवासियों द्वारा विदेश में स्थित संयुक्त उद्यम (JV)/
पूर्ण स्वामित्ववाली सहायक संस्थाओं (WOS) में प्रत्यक्ष निवेश
समय-समय पर यथा संशोधित 7 जुलाई , 2004 की फेमा अधिसूचना 120/आरबी-2004 ( 19 नवंबर , 2004 का जीएसआर 757 (E) अर्थात् विदेशी मुद्रा प्रबंध ( किसी भी विदेशी प्रतिभूति का अंतरण अथवा निर्गम) विनियमावली, 2004 के साथ पठित विदेशी मुद्रा प्रबंध अधिनियम, 1999 (1999 का 42) की धारा 6 की उप धारा (3) के खंड (क) के अनुसार निवासियों को विदेश में स्थित संयुक्त उद्यम और पूर्ण स्वामित्ववाली सहायक संस्थाओं में प्रत्यक्ष निवेश करने की अनुमति है ।
2. इस मास्टर परिपत्र में " निवासियों द्वारा विदेश में स्थित संयुक्त उद्यम / पूर्ण स्वामित्ववाली सहायक संस्थाओं में प्रत्यक्ष निवेश" विषय पर वर्तमान अनुदेशों को एक स्थान में समेकित किया गया है। निहित परिपत्रों / अधिसूचनाओं की सूची परिशिष्ट में दी गई है।
3. इस मास्टर परिपत्र को एक वर्ष के " सनसेट " खंड़ के साथ जारी किया जाता है । इस परिपत्र को 01 जुलाई , 2011 को वापस ले लिया जाएगा और उसके स्थान पर इस विषय में अद्यतन परिपत्र जारी किया जाएगा ।
भवदीय
(जी.जगनमोहन राव )
मुख्य महाप्रबंधक |
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