19 नवंबर 2018
भारतीय रिज़र्व बैंक के केंद्रीय बोर्ड की मुंबई में बैठक
भारतीय रिज़र्व बैंक (आरबीआई) के केंद्रीय बोर्ड की आज मुंबई में बैठक हुई और इसमें बासल विनियामकीय पूंजी ढांचा, दबावग्रस्त एमएसएमईज के लिए पुनर्संरचना योजना, शीघ्र सुधारात्मक कार्रवाई (पीसीए) ढांचे के अंतर्गत बैंकों की स्थिति और भारतीय रिज़र्व बैंक के आर्थिक पूंजी ढांचे पर चर्चा की गई। बोर्ड ने ईसीएफ की जांच करने के लिए एक विशेषज्ञ समूह गठित करने का निर्णय लिया, जिसकी सदस्यता और विचारार्थ विषयों का निर्धारण संयुक्त रूप से भारत सरकार और भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा किया जाएगा। बोर्ड ने यह भी सलाह दी कि भारतीय रिज़र्व बैंक को वित्तीय स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक शर्तों के अधीन ₹ 250 मिलियन तक की समग्र क्रेडिट सुविधा वाले एमएसएमई के उधारकर्ताओं की दबावग्रस्त मानक आस्तियों की पुनर्संरचना योजना पर विचार करना चाहिए। सीआरएआर को 9 प्रतिशत पर रखने का निर्णय लेते हुए बोर्ड ने इस बात पर सहमति दी कि पूंजी संरक्षण बफर (सीसीबी) के अंतर्गत 0.625 प्रतिशत के अंतिम हिस्से को कार्यान्वित करने के लिए अंतरण अवधि का विस्तार एक वर्ष तक अर्थात 31 मार्च 2020 तक किया जाए। पीसीए के अंतर्गत आने वाले बैंकों के संबंध में, यह निर्णय लिया गया कि इस मामले की जांच भारतीय रिज़र्व बैंक के वित्तीय पर्यवेक्षण बोर्ड (बीएफएस) द्वारा की जाएगी।
जोस जे. कट्टूर मुख्य महाप्रबंधक
प्रेस प्रकाशनी : 2018-2019/1165
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