09 अक्टूबर 2018
सर एम विश्वेश्वरैया सहकारी बैंक लिमिटेड, बेंगलुरु, कर्नाटक – दंड लगाया जाना
भारतीय रिज़र्व बैंक ने बैंकिंग विनियमन अधिनियम, 1949 (सहकारी समितियों पर यथा लागू) की धारा 46(4) के साथ पठित धारा 47 ए (1) (सी) के प्रावधानों के तहत उसे प्रदत्त अधिकारों का प्रयोग करते हुए सर एम विश्वेश्वरैया सहकारी बैंक लिमिटेड, बेंगलुरु पर ₹ 5.00 लाख (रुपए पांच लाख मात्र) का आर्थिक दंड लगाया है क्योंकि बैंक द्वारा प्रति लाभार्थी ₹ 70.00 लाख से अधिक का आवास ऋण प्रदान किया गया और एक न्यास (ट्रस्ट) जिसके प्रशासक बैंक के ही एक निदेशक हैं, को अंशदान दिया गया जो क्रमश: दिनांक 31 अक्तूबर 2011 के आरबीआई परिपत्र सं. UBD.BPD. (PCB). Cir. No.7/09.22.010/2011-12 के पैरा 2 और दिनांक 30 अगस्त 2013 के आरबीआई परिपत्र UBD.BPD.(PCB).Cir.No.7/09.72.000/2013-14 का उल्लंघन है।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने बैंक को कारण बताओ नोटिस जारी किया जिसके प्रत्युत्तर में बैंक ने लिखित जवाब प्रस्तुत किया था। इस मामले के तथ्यों तथा बैंक के जवाब पर विचार करने के पश्चात रिज़र्व बैंक इस निष्कर्ष पर पहुंचा है कि उल्लंघन साबित हुए हैं और दंड लगाया जाना चाहिए।
अजीत प्रसाद सहायक परामर्शदाता
प्रेस प्रकाशनी: 2018-2019/824
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