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शहरी बैंकिंग

शायद यह भूमिका हमारे कार्यकलापों का सबसे अधिक अघोषित पहलू है, फिर भी यह सबसे महत्वपूर्ण है। इसमें अर्थव्यवस्था के उत्पादक क्षेत्रों के लिए ऋण उपलब्धता सुनिश्चित करना, देश की वित्तीय मूलभूत सुविधा के निर्माण के लिए डिज़ाइन किए गए संस्थानों की स्थापना करना, वहनीय वित्तीय सेवाओं की पहुंच में विस्तार करना और वित्तीय शिक्षा और साक्षरता को बढ़ावा देना शामिल है।

प्रेस प्रकाशनी


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बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 35ए के अंतर्गत निदेश – जयप्रकाश नारायण नागरी सहकारी बैंक लिमिटेड, बासमतनगर – अवधि बढ़ाना

25 जनवरी 2024

बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 35ए के अंतर्गत निदेश –
जयप्रकाश नारायण नागरी सहकारी बैंक लिमिटेड, बासमतनगर – अवधि बढ़ाना

भारतीय रिज़र्व बैंक ने जयप्रकाश नारायण नागरी सहकारी बैंक लिमिटेड, बासमतनगर को बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 35ए के अंतर्गत दिनांक 28 जुलाई 2022 के निदेश CO.DOS.SED.No.S2723/12-07-005/2022-2023 द्वारा समय- समय पर यथा संशोधित 29 जनवरी 2023 तक छः माह की अवधि के लिए निदेश जारी किए थे जिसे पिछली बार 27 अक्तूबर 2023 के निदेश DOR.MON.D-84/12.22.663/2023-24 के माध्यम से 29 जनवरी 2024 तक बढ़ाया गया था।

2. भारतीय रिज़र्व बैंक इस बात से संतुष्ट है कि उपरोक्त निदेश की परिचालन अवधि को जनहित में 29 जनवरी 2024 से आगे बढ़ाया जाना आवश्यक है।

3. तदनुसार, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 35ए की उप-धारा (1) के अंतर्गत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए, भारतीय रिज़र्व बैंक एतदद्वारा उपरोक्त निदेश की वैधता अवधि को 29 जनवरी 2024 को कारोबार की समाप्ति से 29 अप्रैल 2024 को कारोबार की समाप्ति तक अगले तीन महीने की अवधि के लिए बढ़ाता है जो कि समीक्षाधीन होगा।

4. संदर्भाधीन निदेश के अन्य नियम एवं शर्तें यथावत् रहेंगी।

(योगेश दयाल) 
मुख्य महाप्रबंधक

प्रेस प्रकाशनी: 2023-2024/1751

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