28 फरवरी 2024
विनियामक सैंडबॉक्स हेतु सक्षम रूपरेखा
भारतीय रिज़र्व बैंक ने आज अपनी वेबसाइट पर अद्यतन 'विनियामक सैंडबॉक्स हेतु सक्षम रूपरेखा' जारी किया। पिछले साढ़े चार वर्षों में चलाए गए चार कोहार्ट से प्राप्त अनुभव और फिनटेक, बैंकिंग भागीदारों एवं अन्य हितधारकों से प्राप्त फीडबैक के आधार पर रूपरेखा को संशोधित किया गया है। अन्य बातों के अलावा, विनियामक सैंडबॉक्स प्रक्रिया के विभिन्न चरणों की समय-सीमा को सात महीने से संशोधित कर नौ महीने कर दिया गया है। अद्यतन रूपरेखा के अंतर्गत सैंडबॉक्स संस्थाओं से यह भी अपेक्षित है कि वे डिजिटल वैयक्तिक डाटा संरक्षण अधिनियम, 2023 के प्रावधानों का अनुपालन सुनिश्चित करें।
पृष्ठभूमि:
हितधारकों के साथ व्यापक परामर्श के बाद, 13 अगस्त 2019 को भारतीय रिज़र्व बैंक की वेबसाइट पर 'विनियामक सैंडबॉक्स हेतु सक्षम रुपरेखा’ रखा गया था। जैसा कि उसमें उल्लिखित है, विनियामक सैंडबॉक्स (आरएस) का उद्देश्य वित्तीय सेवाओं में दायित्वपूर्ण नवाचार को प्रोत्साहित करना, दक्षता को बढ़ावा देना और उपभोक्ताओं को लाभ पहुंचाना है।
(योगेश दयाल)
मुख्य महाप्रबंधक
प्रेस प्रकाशनी: 2023-2024/1956
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