भारिबैंक/2011-12/488
ए.पी.(डीआईआर सीरीज) परिपत्र सं. 104
04 अप्रैल 2012
विदेशी मुद्रा के सभी प्राधिकृत व्यक्ति
महेदया/महोदय,
प्राधिकृत व्यापारी श्रेणी ।। - अतिरिक्त कार्यकलाप
करने और नॉस्ट्रो खाता खोलने के लिए अनुमति
सभी प्राधिकृत व्यक्तियों का ध्यान 06 मार्च 2006 के ए.पी.(डीआईआर सीरीज़) परिपत्र सं.25 {ए.पी. (एफएल/आरएल सीरीज़) परिपत्र सं. 02)} के संलग्नक । के पैरा 3 और पैरा 5 की ओर आकृष्ट किया जाता है ।
2. संप्रति केवल प्राधिकृत व्यापारी श्रेणी-। बैंकों को विदेश में निजी/कारोबारी यात्रा पर जाने वाले निवासियों को विदेशी मुद्रा के प्रीपेड कार्ड जारी करने के लिए अनुमति दी गयी है। अब यह निर्णय लिया गया है कि प्राधिकृत व्यापारी श्रेणी-।। को भी विदेश में निजी/कारोबारी यात्रा पर जाने वाले निवासियों को, केवाईसी/एएमएल/सीएफटी अपेक्षाओं के अनुपालन के अधीन, विदेशी मुद्रा के प्रीपेड कार्ड जारी करने के लिए अनुमति दी जाए। तथापि, विदेशी मुद्रा के प्रीपेड कार्डों के संबंध में भुगतान प्राधिकृत व्यापारी श्रेणी-। बैंकों के जरिये किया जाए।
3. विप्रेषणों को भेजने में अधिक लचीलापन सुनिश्चित करने के लिए, अब यह निर्णय लिया गया है कि प्राधिकृत व्यापारी श्रेणी-।। बैंकों को निम्नलिखित शर्तों के तहत नॉस्ट्रो खाते खोलने के लिए अनुमति दी जाए:
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प्रत्येक करेंसी के लिए केवल एक नॉस्ट्रो खाता खोला जा सकता है;
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इस खाते में जमा-शेष-राशि का उपयोग अनुमत प्रयोजनों हेतु किए गए विप्रेषणों के निपटान के लिए ही किया जा सकता है और उसका उपयोग विदेशी मुद्रा के प्रीपेड कार्डों के भुगतान के लिए नहीं किया जा सकता है;
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इस खाते में ऐसी जमा-शेष-राशि न रखी जाए जिसका उपयोग न किया जा रहा हो; और
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वे समय-समय पर विनिर्दिष्ट रिपोर्टिंग अपेक्षा के अधीन होंगे।
4. 06 मार्च 2006 के ए.पी.(डीआईआर सीरीज़) परिपत्र सं.25 {ए.पी.(एफएल/आरएल सीरीज़) परिपत्र सं.02) } में निहित सभी अन्य अनुदेश यथावत बने रहेंगे ।
5.प्राधिकृत व्यक्ति इस परिपत्र की विषयवस्तु से अपने संबंधित घटकों/ग्राहकों को अवगत कराने का कष्ट करें।
6. इस परिपत्र में निहित निदेश विदेशी मुद्रा प्रबंध अधिनियम (फेमा), 1999 की धारा 10(4) और 11(1) के अंतर्गत और किसी अन्य विधि के अधीन वांछित किसी अन्य अनुमति/अनुमोदन, यदि कोई हो, पर प्रतिकूल प्रभाव डाले बिना जारी किए गए हैं।
भवदीय,
(रुद्र नारायण कर)
मुख्य महाप्रबंधक
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