14 अक्तूबर 2024
भारतीय रिज़र्व बैंक ने एसजी फिनसर्व लिमिटेड पर मौद्रिक दंड लगाया
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 1 अक्तूबर 2024 के आदेश द्वारा एसजी फिनसर्व लिमिटेड (पूर्व में मेसर्स मूंगिपा सिक्योरिटीज लिमिटेड के नाम से जाना जाती थी) (कंपनी) पर उन विशिष्ट शर्तों, जिनके अंतर्गत कंपनी को भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 (आरबीआई अधिनियम) की धारा 45आईए(5) के अंतर्गत पंजीकरण प्रमाणपत्र (सीओआर) जारी किया गया था, के अननुपालन के लिए ₹28.30 लाख (अट्ठाईस लाख तीस हजार रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड आरबीआई अधिनियम की धारा 58बी की उप-धारा (6) के साथ पठित धारा 58जी की उप-धारा (1) के खंड (ए) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए कंपनी के वित्तीय विवरणों से, अन्य बातों के साथ-साथ, सीओआर की विशिष्ट शर्तों के अननुपालन का पता चला। इसके आधार पर, कंपनी को एक नोटिस जारी किया गया जिसमें उससे यह पूछा गया कि वह कारण बताए कि सीओआर की उक्त शर्तों के अनुपालन में विफलता के लिए उस पर दंड क्यों न लगाया जाए।
नोटिस पर कंपनी के उत्तर और व्यक्तिगत सुनवाई के दौरान की गई मौखिक प्रस्तुतियों पर विचार करने के बाद, भारतीय रिज़र्व बैंक ने, अन्य बातों के साथ-साथ, यह पाया कि कंपनी के विरुद्ध निम्नलिखित आरोप सिद्ध हुआ है, जिसके लिए मौद्रिक दंड लगाया जाना आवश्यक है।
कंपनी ने उसे जारी किए गए सीओआर संबंधी विशिष्ट शर्तों का उल्लंघन करते हुए लोक निधियों को स्वीकार किया और ऋण दिए।
यह कार्रवाई, विनियामकीय अनुपालन में कमियों पर आधारित है और इसका उद्देश्य कंपनी द्वारा अपने ग्राहकों के साथ किए गए किसी भी लेनदेन या करार की वैधता पर सवाल करना नहीं है। इसके अलावा, इस मौद्रिक दंड को लगाने से भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा कंपनी के विरुद्ध की जाने वाली किसी भी अन्य कार्रवाई पर कोई प्रतिकूल प्रभाव नहीं पड़ेगा।
(पुनीत पंचोली)
मुख्य महाप्रबंधक
प्रेस प्रकाशनी: 2024-2025/1284 |